केरल विधानसभा ने वक्फ संशोधन विधेयक पर जताई आपत्ति, संघीय ढांचे पर खतरा
केरल के अल्पसंख्यक कल्याण, वक्फ और तीर्थयात्रा मंत्री वी. अब्दुर्रहीमान ने प्रस्ताव पेश किया। उन्होंने प्रस्ताव पेश करते हुए कहा कि यह विधेयक वक्फ बोर्डों की स्वायत्तता को प्रभावित करेगा और अल्पसंख्यक समुदायों के अधिकारों को कमजोर करेगा।
Thiruvananthapuram : केरल विधानसभा ने सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित कर केंद्र सरकार से 2024 वक्फ संशोधन विधेयक वापस लेने की मांग की है। विधानसभा ने इस विधेयक पर चिंता जताते हुए कहा कि यह संघीय ढांचे और लोकतांत्रिक मूल्यों के खिलाफ है।
केरल के अल्पसंख्यक कल्याण, वक्फ और तीर्थयात्रा मंत्री वी. अब्दुर्रहीमान ने प्रस्ताव पेश किया। उन्होंने प्रस्ताव पेश करते हुए कहा कि यह विधेयक वक्फ बोर्डों की स्वायत्तता को प्रभावित करेगा और अल्पसंख्यक समुदायों के अधिकारों को कमजोर करेगा। उन्होंने कहा, “संविधान के तहत वक्फ बोर्डों का प्रबंधन राज्य सरकारों का विशेषाधिकार है, लेकिन इस विधेयक से राज्य सरकारों के अधिकारों का उल्लंघन हो रहा है।”
विधायक दल के सभी सदस्यों ने प्रस्ताव का समर्थन किया, जिसमें विपक्षी पार्टियां भी शामिल थीं। सभी ने एकमत से कहा कि विधेयक संघीय ढांचे के सिद्धांतों के साथ खिलवाड़ है और इसे तुरंत वापस लिया जाना चाहिए।
प्रस्ताव में यह भी कहा गया कि इस तरह के कानूनों से अल्पसंख्यक समुदायों में असुरक्षा की भावना पैदा होगी। राज्य सरकार ने केंद्र से आग्रह किया है कि वह जनभावनाओं का सम्मान करते हुए विधेयक को वापस ले। विपक्ष के नेता वी.डी. सतीसन ने भी प्रस्ताव का समर्थन करते हुए कहा कि केंद्र सरकार को राज्यों के अधिकारों और अल्पसंख्यक समुदायों के अधिकारों का सम्मान करना चाहिए।
इस प्रस्ताव के पारित होने के बाद राजनीतिक हलकों में चर्चा तेज हो गई है। केरल सरकार ने यह संदेश स्पष्ट कर दिया है कि वह किसी भी ऐसी पहल का विरोध करेगी, जो राज्यों के अधिकारों में हस्तक्षेप करती हो। वक्फ संशोधन विधेयक 2024 को लेकर पूरे देश में बहस जारी है, और केरल विधानसभा का यह प्रस्ताव केंद्र को एक स्पष्ट संदेश देने की कोशिश है