पाकिस्तान ने जिस BSF जवान को पकड़ा, वो कौन है और कैसे पहुंचा सीमा पार?

Who is BSF Jawan Purnam Kumar Shaw

BSF Jawan Purnam Kumar Shaw News: 4 दिन  से ज्यादा का वक्त हो चुका है, लेकिन अब भी BSF पूर्णम कुमार शॉ पाकिस्तान के कब्जे में हैं. उनके परिवार का रो-रोकर बुरा हाल हो रखा है. उनकी पत्नी गर्भवती हैं, जो बेहद परेशान हैं. दरअसल, जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारतीय सीमा सुरक्षा बल (BSF) का जवान पूर्णम कुमार शॉ गलती से पाकिस्तान की सीमा में चला गया और वहां की सुरक्षा एजेंसियों द्वारा पकड़ा गया. इस घटना ने दोनों देशों के बीच तनाव को और बढ़ा दिया है और भारत सरकार ने जवान की सुरक्षित वापसी के लिए कूटनीतिक प्रयास तेज कर दिए हैं।

कैसे पाकिस्तानी सीमा में पहुंच गया BSF जवान

जानकारी के अनुसार, पहलगाम हमले के बाद सुरक्षा बलों की तैनाती और गश्त बढ़ा दी गई थी. इसी दौरान बीएसएफ के जवान की तैनाती नियंत्रण रेखा (LoC) के पास थी. घने कोहरे और खराब दृश्यता के कारण जवान गलती से पाकिस्तान अधिकृत क्षेत्र में प्रवेश कर गया. पाकिस्तान रेंजर्स ने उसे तुरंत हिरासत में ले लिया.

BSF जवान पर भारत की प्रतिक्रिया

भारत सरकार ने इस घटना को गंभीरता से लिया है और पाकिस्तान से तत्काल जवान की सुरक्षित वापसी की मांग की है. विदेश मंत्रालय ने इस मुद्दे पर पाकिस्तान के उच्चायुक्त से संपर्क किया है और कूटनीतिक चैनलों के माध्यम से बातचीत जारी है. बीएसएफ के वरिष्ठ अधिकारियों ने भी पाकिस्तान रेंजर्स से संपर्क स्थापित किया है और घटना के बाद 3 राउंड की दोनों देशों के बीच फ्लैग मीटिंग हो चुकी हैं, लेकिन अबतक पाकिस्तान ने जवान को नहीं छोड़ा.

पकड़े गए बीएसएफ जवान कौन हैं कहां के रहने वाले हैं?

पाकिस्तान द्वारा हाल ही में पकड़े गए बीएसएफ  जवान का नाम पूर्णम कुमार शॉ (Purnam Kumar Shaw) है. वो पश्चिम बंगाल के हुगली जिले के रिषड़ा (Rishra) शहर के निवासी हैं.

ये घटना 23 अप्रैल 2025 को पंजाब के फिरोजपुर सेक्टर में हुई, जब पूर्णम कुमार शॉ बीएसएफ की 182वीं बटालियन के साथ ड्यूटी पर थे. गर्मी और थकान के कारण वो सीमा के पास एक पेड़ की छाया में आराम करने गए और अनजाने में अंतरराष्ट्रीय सीमा पार कर पाकिस्तानी क्षेत्र में प्रवेश कर गए, जहां उन्हें पाकिस्तान रेंजर्स ने हिरासत में ले लिया.

घटना के बाद से बीएसएफ और पाकिस्तान रेंजर्स के बीच तीन दौर की फ्लैग मीटिंग्स हो चुकी हैं, लेकिन अभी तक जवान की रिहाई नहीं हो पाई है. बीएसएफ के वरिष्ठ अधिकारी और भारत सरकार उनके सुरक्षित और शीघ्र वापसी के लिए प्रयासरत हैं.

पूर्णम कुमार शॉ के परिवारजन, उनकी गर्भवती पत्नी रजनी शॉ, उनके सुरक्षित लौटने की प्रार्थना कर रही हैं और उन्होंने मीडिया से बातचीत में चिंता व्यक्त की है. ये घटना ऐसे समय में हुई है जब भारत और पाकिस्तान के बीच संबंध पहले से ही तनावपूर्ण हैं, विशेषकर 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद, जिसमें 26 लोग मारे गए थे. पूर्णम कुमार शॉ की सुरक्षित वापसी के लिए भारत सरकार के प्रयास जारी हैं और उम्मीद है कि जल्द ही सकारात्मक परिणाम सामने आएंगे.

पहले भी हो चुकी है ऐसी घटना 

ये पहली बार नहीं है जब कोई भारतीय जवान गलती से पाकिस्तान की सीमा में प्रवेश कर गया हो. 2014 में बीएसएफ के जवान सत्यशील यादव चिनाब नदी में गश्त के दौरान बहकर पाकिस्तान की सीमा में चले गए थे और वहां की सुरक्षा एजेंसियों ने उन्हें पकड़ लिया था. दो दिन बाद पाकिस्तान ने उन्हें भारत को सौंप दिया था.

 

 

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